Jammu-Kashmir में आतंकियों की मदद करने वालों की खैर नहीं!
Haryana Update: जम्मू-कश्मीर में हालिया आतंकी घटनाओं को देखते पुलिस आतंकवादियों की मदद करने वालों के खिलाफ कड़ी कार्रवाई करने की तैयारी कर रही है. जम्मू-कश्मीर के डीजीपी आरआर स्वैन ने बताया कि ऐसे लोगों के खिलाफ एनिमी एजेंट्स एक्ट के तहत एक्शन लिया जा सकता है.
UAPA से भी कठोर है EAA
डीजीपी आरआर स्वैन ने कहा, ‘पुलिस बाहर से आने वाले आतंकवादियों की मदद करने वालों के खिलाफ कठोर एनिमी एजेंट्स एक्ट (Enemy Agents Act) के तहत कार्रवाई कर सकती है. एनिमी एजेंट्स एक्ट UAPA से भी अधिक कठोर होता है.
उन्होंने कहा, ‘एनिमी एजेंट्स एक्ट के तहत आजीवन कारावास या मौत की सजा का प्रावधान है. कठुआ आतंकी घटना की जांच राज्य जांच एजेंसी कर रही है जबकि रियासी आतंकी हमले की जांच एनआईए को सौंपी गई है.
पकड़ा गया आतंकियों का सहयोगी
कुछ दिनों पहले रियासी जिले में तीर्थयात्रियों को ले जा रही बस पर हुए आतंकी हमले के मामले में जम्मू-कश्मीर पुलिस को पहली कामयाबी मिली थी. पुलिस ने आतंकियों के एक सहयोगी को गिरफ्तार किया था. गिरफ्तार आरोपी ने ही आतंकियों को कई बार पनाह दी थी और उनके गाइड के रूप में काम किया था.
एसएसपी रियासी मोहिता शर्मा ने बताया कि आतंकियों के सहयोगी हाकम (45) को गिरफ्तार किया गया है. यह व्यक्ति कई बार आतंकियों को पनाह देने में शामिल था. भोजन और आश्रय देने के साथ-साथ उसने एक गाइड के रूप में काम किया और आतंकवादियों को घटनास्थल तक पहुंचाने में मदद की.
9 जून को हुआ था हमला
दरअसल, रविवार (9 जून) की शाम को कटरा में माता वैष्णो देवी मंदिर में तीर्थयात्रियों को ले जा रही 53 सीटों वाली बस पर आतंकवादियों ने हमला कर दिया था. इसके बाद बस खाई में गिर गई थी. इसमें एक नाबालिग समेत 9 लोगों की मौत हुई और 41 अन्य घायल हो गए थे. बस में उत्तर प्रदेश, राजस्थान और दिल्ली के तीर्थयात्री सवार थे. आतंकी हमले की जांच जम्मू-कश्मीर पुलिस के साथ-साथ राष्ट्रीय जांच एजेंसी (NIA) भी कर रही है.
अचानक क्यों बढ़ रहे आतंकी हमले?
जम्मू और कश्मीर में अगले कुछ ही महीनों में विधानसभा चुनाव प्रस्तावित हैं. इस विधानसभा चुनाव से पहले दहशतगर्द जम्मू-कश्मीर में खौफ फैलाना चाहते हैं. इसलिए आतंकी ताबड़तोड़ हमलों को अंजाम दे रहे हैं. खुफिया इनपुट के मुताबिक TRF का ऑफशूट हिट स्क्वाड जो फॉल्कन स्क्वाड के नाम से जाना जाता है, वो ऐसे हमलों को अंजाम दे रहा है. आतंकियों के इस गिरोह में विदेशी दहशतगर्द भी शामिल हैं. इसके अलावा हाल के दिनों में जम्मू-कश्मीर में पर्यटकों की लंबी-लंबी कतारें भी पाकिस्तान में बैठे आतंकियों के सरगनाओं को खटक रही हैं. इसलिए ये तत्व घाटी में अमन के माहौल को किसी भी हालत में खत्म करना चाहते हैं।